नई दिल्ली । फरवरी 2007 में रतन टाटा ने एक ऐसी तेज उड़ान भरी थी, जिसका अनुभव जिंदगी में कुछ ही लोग कर पाते हैं. दरअसल, बेंगलुरु में आयोजित एयर इंडिया शो में रतन टाटा को ।अमेरिकी डिफेंस कॉन्ट्रेक्टर लॉकहीड मार्टिन ने F-16 लड़ाकू विमान के को-पायलट के रूप में आमंत्रित किया था । उस वक्त रतन टाटा की उम्र 69 वर्ष थी।
विमानन कौशल के लिए भी मशहूर थे : अपने विमानन कौशल के लिए जाने जाने वाले रतन टाटा के पास जेट और हेलीकॉप्टर दोनों उड़ाने का लाइसेंस था और उन्हें 2007 में लड़ाकू विमान उड़ाने का अवसर मिला था। अनुभवी लॉकहीड मार्टिन पायलट के साथ उन्होंने बेंगलुरु में आधे घंटे की उड़ान के दौरान नियंत्रण संभाला था. रतन टाटा ने अपने फ्लाइट उड़ाने के एक्सपीरियंस को ‘उत्साहजनक’ बताया था। लॉकहीड मार्टिन जिन्होंने रतन टाटा को उड़ान के वक्त गाइड किया था ने कहा, “वह सही में बेहद उत्साहित थे. इस उड़ान का हाईलाइट वो था जब हम लोग 500 फीट की ऊंचाई पर थे. उस वक्त आपको ऐहसास होता है कि असल में यह एयरक्राफ्ट कितनी तेज़ी से आगे बढ़ता है।
F-16 के बाद F-18 भी उड़ाया
लैंड करते वक्त रतन टाटा का स्वागत लॉकहीड मार्टिन के अधिकारियों ने किया और उन्हें F-16 की एक छोटी प्रतिकृति भेंट की. उस समय अमेरिकी रक्षा दिग्गज भारत के साथ कई अरब डॉलर के बड़े रक्षा अनुबंध के लिए प्रतिस्पर्धा कर रहे थे.। लेकिन F-16 उस हफ्ते रतन टाटा की हवाई उड़ान की एकमात्र उपलब्धि नहीं थी. इसके अगले ही दिन उन्होंने एक बार फिर आसमान में उड़ान भरी थी और इस बार उन्होंने F-18 सुपर हॉर्नेट उड़ाया था. F-16 से बड़ा और ज़्यादा शक्तिशाली, F-18 अमेरिकी नौसेना के विमानवाहक पोत संचालन में एक महत्वपूर्ण संपत्ति है।